शनिवार, 16 फ़रवरी 2013

8 साल की उपलब्धियां गिनाकर अपना दाग धोएंगे विधायक जनसंपर्क यात्रा में संगठन की एंट्री से माननीय डर रहे भोपाल। चार साल तक मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और संगठन की हिदायतों को दरकिनार कर अपने विधानसभा क्षेत्र में विकास कार्यो की उपेक्षा करने वाले विधायकों को अब महाजनसंपर्क अभियान के तहत अपने क्षेत्र में जाने से घबराहट होने लगी है। उस पर इस अभियान में संगठन की एंट्री से माननीय डर गए हैं। ऐसे में अब विधायकों ने मुख्यमंत्री की 8 साल की उपलब्धियों को गिनाकर अपना दाग धोने की योजना बनाई है। अब महीने में वे क्या कर लेंगे चार साल में जो काम विधायक नहीं करा पाए तो अब छह महीने में वे क्या कर लेंगे। विधानसभा चुनाव को देखते हुये जनता को पटाने की खातिर भाजपा प्रदेश नेतृत्व के कहने पर 25 फरवरी से 20 मार्च के बीच सभी विधानसभा में विधायक द्वारा महाजनसंपर्क अभियान के तहत विकास यात्राएं निकाली जाएगी। विकास यात्रा में विधायक घर-घर दस्तक देकर जनता से उनकी समस्या जानेंगे और उनको प्रदेश सरकार के काम-काज और योजनाओं से भी अवगत कराएंगे। यात्रा के दौरान विधायकों से कहा गया है कि वे अपनी विधानसभा के हर मंडल और बूथ तक जाए। कहा जा सकता है कि महाजनसंपर्क यात्रा के बहाने भाजपा ने चुनाव प्रचार की शुरूआत कर दी है। सत्र के दौरान दो दिन यात्रा करेंगे विधायक इस जनसंपर्क अभियान की अनूठी बात यह रहेगी कि शायद पहली बार बिना विधायकों के यात्रा होगी। 18 फरवरी से विधानसभा शुरू हो रही है और इसी सत्र में शिवराज सरकार का आखिरी बजट भी पेश होगा। विधायकों के विधानसभा सत्र में होने के कारण सोम, मंगल, बुध, गुरू और शुक्र को विधायकों की गैर मौजूदगी में जनसंपर्क अभियान के प्रभारी, मंडल और वार्ड प्रभारी के साथ नगर पदाधिकारी यात्रा में रहेंगे और नागरिकों से उनकी समस्याओं को जानेंगे और फिर विधायकों तक जनसंपर्क यात्रा में मिली शिकायतों-समस्याओं को रखेंगे। शनिवार-रविवार को छुट्टी होने के कारण विधायक जनसंपर्क यात्रा में रहेंगे। वैसे तो जनसंपर्क यात्रा में विधायक के साथ संगठन का भी सहयोग रहेगा लेकिन विधायकों के चार दिन विस सत्र में होने के कारण जनसंपर्क यात्रा पूरी तरह संगठन के भरोसे रहेगी और विधायकों को यही खतरा रहा है कि उनके न रहने पर उनका काला चि_ा संगठन तक सीधे पहुंच जायेगा और कहीं रिपोर्ट बनाकर प्रदेश नेतृत्व को भेज दी गई तो उनकी टिकिट पर आंच न आ जाये। इस डर से विधायकों की यही कोशिश है कि वे ज्यादा से ज्यादा यात्रा में रहे। इसके अलावा वे जनसंपर्क यात्रा प्रभारी के साथ मंडल और वार्ड प्रभारी को भी पटाने तैयारी में है । वैसे यह बताने की जरूरत नहीं है कि यहां किस विधायक ने क्या काम किया। कौन जीतेगा और कौन हार जायेगा यह भी जगजाहिर है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह के जादू के कारण पिछले चुनाव में कई हारने वाले विधायक भी जीत जाये तो आश्चर्य नहीं। यदि अपने भरोसे विधायक चुनाव मैदान में उतरे तो तीसरी बार भाजपा की सरकार बनना मुश्किल है। इन योजनाओं पर फोकस लाड़ली लक्ष्मी- बेटी बचाओ योजना जीरो प्रतिशत ब्याज पर कर्ज योजना मुख्यमंत्री कन्यादान योजना मुख्यमंत्री तीर्थदर्शन योजना मुफ्त दवा-जांच योजना स्वरोजगार कर्ज योजन

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