गुरुवार, 14 मार्च 2013

भाजपा का कटघरा...कांग्रेस का रथ

भोपाल। मप्र में चुनावी बिसात बिछ गई है। भाजपा और कांग्रेस के रणनीतिकारों ने मोहरे बिछानी शुरू कर दी है। शह-मात के इस द्वंद्व में बाजी कौन मारेगा यह तो नवंबर में चुनाव के बाद आने वाले परिणाम के बाद ही पता चलेगा,लेकिन एक-दूसरे को घेरने के लिए दोनों दलों ने मैदानी अभियान तेज कर दिया है। कांग्रेस को घेरने के लिए भाजपा ने महाजनसंपर्क अभियान के रूप में कटघरा बना रखा है वहीं कांग्रेसी ने भाजपा को घेरने के लिए किसान बचाओ रथ पर सवार हैं। महाजनसंपर्क अभियान बनाम किसान बचाओ रथयात्रा विधानसभा चुनाव को अभी करीब 8 माह समय बचा है,लेकिन काम करने के लिए 3-4 माह ही मिलेंगे। इसलिए दोनों पाटिर्यों ने बरसात से पहले ग्रमीण इलाकों के मतदाताओं को पटाने का अभियान शुरू कर दिया है। कांग्रेस किसान मोर्चा ने 1 फरवरी से किसान बचाओ रथयात्रा निकाल कर भाजपा सरकार को किसान और आम आदमी विरोधी होने का प्रचार करती फिर रही है वहीं भाजपा ने 25 फरवरी से महाजनसंपर्क अभियान शुरू कर दिया है। इस अभियान के तहत भाजपा शिवराज सिंह चैहान की आम आदमी-गरीब आदमी के कल्याण की कुछ अद्भुत और अति लोकप्रिय योजनाओं के सहारे विधानसभा चुनाव की वैतरणी पार करने की उधेड़बुन में लगी है और गरीब आदमी का आम आदमी का मुख्यमंत्री शिवराज सिंह वाली छवि के साथ अपने अभियान को गति देने में लगी है। 'महाजनसंपर्कÓ अभियान 20 मार्च तक प्रदेश के 14 नगर निगम, 88 नगरपालिकाओं और 236 नगर पंचायतों, 23 हजार ग्राम पंचायतों तक करीब 3500 टोलियां 53 हजार मतदान केन्द्रों के $ढ़ाई करोड़ मतदाताओं के बीच पहुंचेगी। इस अभियान के दौरान भाजपा नेता केंद्र सरकार की जनविरोधी छवि को मतदाताओं से सामने प्रस्तुत कर रही है। जिसमें महंगाई और भ्रष्टाचार प्रमुख है। गुप्त अभियान पर सिंधिया कांग्रेस इस साल होने वाले विधानसभा चुनावों में बदली रणनीति के साथ उतरेगी। खास तौर से मध्यप्रदेश कांग्रेस के एजेंडे में सबसे ऊपर है, जहां उसकी कोशिश किसी भी कीमत में भाजपा को जीत की हैट्रिक बनाने से रोकने की है। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का हर सीट पर अपना एक वोटबैंक बनने की रिपोर्ट से कांग्रेस हलकान है। इसीलिए, तमाम सिर फुटौव्वल के बावजूद राज्य में केंद्रीय ऊर्जा राज्य मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को आलाकमान ने एक गुप्त एजेंडे के तहत प्रदेश मेें सक्रिय कर दिया है। शायद यही कारण है कि भाजपा के महाजनसंपर्क अभियान बनाम कांग्रेस के किसान बचाओ रथयात्रा के इतर केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया प्रदेश के ग्रामिण अंचलों का दौरा कर रहे हैं। शिवराज के व्यक्तिगत वोटबैंक बाधक बताया जाता है कि मध्यप्रदेश में एक दशक बाद सत्ता में वापसी की कोशिश में कांग्रेस शिवराज के व्यक्तिगत वोटबैंक को अपने मिशन में बाधक मान रही है। चुनावों की तैयारियों से पहले जमीनी हकीकत की समीक्षा के बाद कांग्रेस हाईकमान ने इन हालात को देखते हुए तय किया है कि प्रदेश में पार्टी बिना चेहरे के नहीं दिखेगी। दिग्विजय सिंह, कमलनाथ,सुरेश पचौैरी, ज्योतिरादित्य सिंधिया आदि तमाम क्षत्रपों के गुटों में बंटी कांग्रेस कहीं से भी शिवराज के सामने खड़ी नहीं दिख रही है। लिहाजा, पार्टी ने तय किया कि यहां पर युवा चेहरे के रूप में ज्योतिरादित्य सिंधिया को आगे बढ़ाया जाएगा। हालांकि सिंधिया पार्टी का चेहरा बनने की खबर से इंकार कर रहे हैं लेकिन प्रदेश में उनकी सक्रियता इसका संकेत दे रही है। इनका कहना है भाजपा सरकार ने प्रत्येक वर्ग की चिंता की है। प्रदेश के संवेदनशील मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रत्येक वर्ग की महापंचायत बुलाकर उनकी समस्याओं का निराकरण किया है। अपने प्रदेश को स्वर्णिम बनाने के सपने के मुख्यमंत्री पूरा करने में लगे है। जितने विकास कार्य इस सरकार में हुए है। उतने पहले कभी किसी सरकार में देखने को नहीं मिले है। माखन सिंह पूर्व प्रदेश संगठन महामंत्री,भाजपा प्रदेश में भाजपा सरकार ने पिछले 9 साल में घोषणाओं के अलावा कुछ नहीं किया है। किसान बचाओ रथयात्रा के दौरान किसानों के साथ प्रदेश सरकार द्वारा किए गए छलावे की हकीकत सामने आ रही है। हमारी रथ यात्रा का समापन 28 फरवरी को होगा। इस दिन तीजबडली में सम्मेलन आयोजित कर सरकार के खिलाफ शंखनाद किया जाएगा। वीरेंद्र सिंह राणा प्रदेशाध्यक्ष किसान कांग्रेस

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